Air India Flight Crash Report: क्या पायलट की गलती से हुआ विमान हादसा?, 15 पन्नों की रिपोर्ट में अहमदाबाद हादसे के चौंकाने वाले खुलासे
जब भी आसमान से कोई खबर आती है, एक उम्मीद बंधती है. लेकिन जब खबर किसी दुर्घटना की हो, तो दिल सहम जाता है. एयर इंडिया की उस अभागी उड़ान की दुर्घटना, जिसकी रिपोर्ट अब सामने आई है, सिर्फ आंकड़ों और तकनीकी खामियों का पुलिंदा नहीं है, बल्कि सैकड़ों जिंदगियों के बिखरने की दास्तान है, अनगिनत परिवारों के सपनों के टूटने की कहानी है
हाल ही में अहमदाबाद में हुई एयर इंडिया की भयावह विमान दुर्घटना, जिसने 260 से अधिक लोगों की जान ले ली, की प्रारंभिक जांच रिपोर्ट सामने आ गई है। एयरक्राफ्ट एक्सीडेंट इन्वेस्टिगेशन ब्यूरो (AAIB) द्वारा जारी की गई यह 15 पन्नों की रिपोर्ट, दुर्घटना के आखिरी कुछ पलों और उसके कारणों को लेकर कई चौंकाने वाले खुलासे करती है।
Air India Flight Crash Report: क्या हुआ था उस 98 सेकंड में?
रिपोर्ट के अनुसार, अहमदाबाद से लंदन गैटविक जा रही एयर इंडिया की AI171 उड़ान, बोइंग 787-8 ड्रीमलाइनर विमान, ने 12 जून को दोपहर 1:37 बजे उड़ान भरने की इजाजत मिलने के बाद टेकऑफ किया। यह विमान केवल 32 सेकंड ही हवा में रह सका और फिर दुर्घटनाग्रस्त हो गया।
प्रारंभिक रिपोर्ट के मुख्य बिंदु निम्नलिखित हैं:
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दोनों इंजनों में ईंधन की आपूर्ति अचानक बंद हुई: उड़ान भरने के मात्र तीन सेकंड बाद, विमान के दोनों इंजनों के फ्यूल कंट्रोल स्विच (जो इंजनों को ईंधन भेजते हैं) ‘रन’ से ‘कटऑफ’ स्थिति में चले गए। इस वजह से अचानक थ्रस्ट में कमी आ गई।
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पायलटों के बीच भ्रम: कॉकपिट वॉयस रिकॉर्डिंग (CVR) में सुना गया कि एक पायलट ने दूसरे से पूछा, “तुमने ईंधन क्यों बंद किया?” जिस पर दूसरे पायलट ने जवाब दिया, “मैंने ऐसा नहीं किया।” यह दर्शाता है कि यह तकनीकी खराबी या अनजाने में हुई गलती का परिणाम हो सकता है।
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RAT का प्रयोग: रिपोर्ट में बताया गया है कि विमान के हवा में आते ही रैम एयर टरबाइन (RAT) तैनात हो गया। RAT एक आपातकालीन बिजली स्रोत है जो इंजनों के विफल होने या हाइड्रोलिक सिस्टम के काम न करने पर तैनात किया जाता है। हालांकि, कम ऊंचाई के कारण यह पूरी तरह से काम नहीं कर सका।
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इंजन को फिर से चालू करने का प्रयास: पायलटों ने इंजनों को फिर से चालू करने का प्रयास किया। इंजन 1 कुछ हद तक ठीक हो गया और उसने अपनी कोर स्पीड की गिरावट को रोक दिया, जिससे वह रिकवरी की ओर बढ़ने लगा। लेकिन इंजन 2 पूरी तरह से रिकवर नहीं हो पाया और पर्याप्त थ्रस्ट उत्पन्न नहीं कर सका।
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‘मेडे’ कॉल और दुर्घटना: दोपहर 1:39 बजे, एक पायलट ने इमरजेंसी चेतावनी ‘मेडे, मेडे, मेडे’ जारी की। इसके कुछ ही सेकंड बाद, एयर ट्रैफिक कंट्रोल (ATC) को कोई रिस्पॉन्स मिलने से पहले ही विमान अहमदाबाद हवाई अड्डे की बाउंड्री के ठीक बाहर एक मेडिकल कॉलेज के हॉस्टल से टकराकर दुर्घटनाग्रस्त हो गया।
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नोज-अप एटीट्यूड: विश्लेषण से पता चला है कि विमान ने 8 डिग्री के नोज-अप एटीट्यूड (अगला भाग ऊपर की ओर) और समतल पंखों के साथ इमारतों से टक्कर मारी, लेकिन उस समय दोनों इंजन बंद थे, जिससे विमान ऊपर जाने में असमर्थ था।
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ब्लैक बॉक्स की बरामदगी: दुर्घटना के कुछ दिनों बाद, विमान का कॉकपिट वॉयस रिकॉर्डर (CVR) और फ्लाइट डेटा रिकॉर्डर (FDR) हॉस्टल की इमारत से बरामद किए गए। इन उपकरणों को कोई नुकसान नहीं हुआ और इन्होंने जांच में महत्वपूर्ण जानकारी प्रदान की।
Air India Flight Crash Report: आगे की जांच
Air India Flight Crash Report की यह प्रारंभिक रिपोर्ट एक महत्वपूर्ण कदम है, लेकिन यह कई सवालों के जवाब अभी भी नहीं देती है, जैसे कि फ्यूल कंट्रोल स्विच कैसे ‘कटऑफ’ स्थिति में चले गए और किसने ऐसा किया। बोइंग ने फ्यूल कंट्रोल स्विच लॉक से संबंधित चिंताओं पर एक सलाह जारी की थी, लेकिन एयर इंडिया ने वैकल्पिक निरीक्षण नहीं किया था।
Air India Flight Crash Report: पायलट्स एसोसिएशन ने जताई आपत्ति
पायलट्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया ने इस प्रारंभिक Air India Flight Crash Report (रिपोर्ट) पर कड़ी आपत्ति जताई है, उनका आरोप है कि यह रिपोर्ट “पायलटों पर दोष मढ़ने” की दिशा में अग्रसर प्रतीत होती है। उनका कहना है कि योग्य और अनुभवी पायलटों को अभी भी जांच दल में शामिल नहीं किया जा रहा है।
जांच अभी भी जारी है और अंतिम रिपोर्ट आने में समय लग सकता है। दुर्घटना जांच ब्यूरो (AAIB) का कहना है कि वे हर प्रणाली के कामकाज की गहन जांच करेंगे। यह दुर्घटना बोइंग 787 ड्रीमलाइनर से जुड़ी पहली घातक दुर्घटना है, जो विमानन उद्योग के लिए एक गंभीर चिंता का विषय है।
इस दुर्घटना ने विमानन सुरक्षा प्रोटोकॉल और तकनीकी प्रणालियों की विश्वसनीयता पर सवाल खड़े किए हैं, और भविष्य में ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए व्यापक उपायों की आवश्यकता पर जोर दिया है।
Air India Flight Crash Report: भविष्य के लिए सबक
यह रिपोर्ट भविष्य के लिए एक सबक भी है। सुरक्षा के कड़े मानक, नियमित जाँच, और मानवीय चूक को कम करने के प्रयासों पर जोर देना होगा ताकि ऐसी भयावह घटनाएं दोबारा न हों. हर उड़ान, हर यात्रा सुरक्षित हो, यह सुनिश्चित करना हम सभी की जिम्मेदारी है।
उस दुर्घटना में जान गंवाने वालों को हम सिर्फ श्रद्धांजलि ही दे सकते हैं उनकी यादें हमारे दिलों में हमेशा जीवित रहेंगी और उन परिवारों को हिम्मत और सांत्वना की जरूरत है, ताकि वे इस असहनीय पीड़ा से उबर सकें।
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